कर्मचारी पेंशन योजना (EPS-95) निजी कंपनियों में काम करने वाले रिटायर्ड लोगों के लिए एक शानदार खबर लाई है। सरकार जल्द ही न्यूनतम पेंशन को ₹1,000 से बढ़ाकर ₹10,000 करने वाली है। इससे देश के 78 लाख से ज्यादा पेंशनर्स को बड़ी राहत मिलेगी। साथ ही, महंगाई भत्ता (DA) भी मिलेगा, ताकि बढ़ती कीमतों का बोझ न पड़े। यह बदलाव मई 2025 से शुरू हो सकता है। आइए, इसे आसान शब्दों में समझते हैं।
EPS-95 योजना क्या है?
EPS-95 एक ऐसी योजना है, जो 1995 में शुरू हुई थी। यह निजी कंपनी में काम करने वाले लोगों को रिटायर होने के बाद पेंशन देती है। इसमें आपकी सैलरी का कुछ हिस्सा (8.33%) आपका नियोक्ता और 1.16% सरकार पेंशन फंड में डालती है। पहले न्यूनतम पेंशन ₹1,000 थी, जो अब बहुत कम लगती थी। इसलिए सरकार इसे बढ़ाने जा रही है।
पेंशन क्यों बढ़ रही है?
कई सालों से पेंशनर्स और यूनियनें पेंशन को ₹7,500 या ₹9,000 करने की मांग कर रहे थे। जनवरी 2025 में EPS-95 कमेटी ने वित्त मंत्री से मुलाकात की और पेंशन बढ़ाने की बात रखी। अब सरकार ₹10,000 तक पेंशन देने पर विचार कर रही है। संसद की एक समिति ने भी श्रम मंत्रालय से जल्द फैसला लेने को कहा है।
कौन ले सकता है फायदा?
इस पेंशन का फायदा वही लोग उठा सकते हैं, जिन्होंने कम से कम 10 साल तक EPF में पैसा जमा किया हो और उनकी उम्र 58 साल हो। पेंशन के साथ महंगाई भत्ता भी मिलेगा, जो हर साल जनवरी और जुलाई में बढ़ती कीमतों के हिसाब से अपडेट होगा। इससे पेंशन की रकम समय के साथ बढ़ती रहेगी।
पात्रता | विवरण |
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नौकरी का समय | कम से कम 10 साल |
उम्र | 58 साल |
न्यूनतम पेंशन | ₹10,000 (प्रस्तावित) |
महंगाई भत्ता | हर साल अपडेट होगा |
कैसे मिलेगा फायदा?
अगर आप पहले से EPS-95 पेंशन ले रहे हैं, तो आपको नया फॉर्म भरने की जरूरत नहीं। नई पेंशन की रकम अपने आप आपके खाते में आएगी। लेकिन अगर आपने ज्यादा पेंशन के लिए आवेदन किया है, तो आपको EPFO में कुछ अतिरिक्त पैसा जमा करना पड़ सकता है। अभी 1.92 लाख लोगों के फॉर्म की जांच हो रही है, और 74,811 लोग अतिरिक्त पैसा जमा कर चुके हैं।
पेंशनर्स के लिए नई उम्मीद
यह बढ़ोतरी 78 लाख पेंशनर्स के लिए बड़ी राहत होगी, खासकर उन लोगों के लिए जो ₹1,000 की पेंशन से मुश्किल से गुजारा कर रहे थे। कुछ खबरों में ₹7,500 या ₹9,000 की बात थी, लेकिन ₹10,000 की खबर ने सबको खुश कर दिया है। सरकार का कहना है कि इससे रिटायर्ड लोगों का जीवन बेहतर होगा और वे आत्मनिर्भर भारत का हिस्सा बनेंगे।